बिहार में नियोजित से विशिष्ठ शिक्षक बने टीचर्स की टेंशन बढ़ी, जानिए.. क्यों परेशान हैं गुरुजी
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के गृह जिला नालंदा के नियोजित शिक्षकों को विशिष्ठ शिक्षक बनने का खामियाजा भुगतना पड़ रहा है।
अब इन शिक्षकों के पास सैलरी को लेकर बड़ी समस्या सामने आ गई है।
दरअसल, नालंदा के विशिष्ठ शिक्षकों को अभी तक जनवरी महीने की सैलरी नहीं मिली है। अब तो फरवरी का महीना भी खत्म होने वाला है। सैलरी नहीं मिलने के कारण इन विशिष्ठ शिक्षकों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। टीईटी प्रारंभिक शिक्षक संघ के जिला सचिव ने बताया कि पहले ईपीएफओ से वेतन अच्छादित था तो महीने के पहले सप्ताह में सैलरी मिल जाती था लेकिन अब परेशानी आ रही है।
नियोजित शिक्षक से अब विशिष्ठ शिक्षक बन जाने के बाद उनकी सैलरी राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली से कॉवर्ड होगी। शिक्षकों का पहले परमानेंट रिटायरमेंट अकाउंट बनेगा, इसके बाद बाद उनकी सैलरी राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली से कॉवर्ड होगी। विभाग की लापरवाही के कारण अभी तक जिले के अधिकांश विशिष्ठ शिक्षकों के परमानेंट रिटायरमेंट अकाउंट जनरेट नहीं हो सका है। जिसके कारण सैलरी मिलने में अभी और समय लग सकता है।
शिक्षक नेताओं का कहना है कि जिला शिक्षा विभाग इस काम को लेकर तेजी नहीं दिखा रहा है। शिक्षकों ने सरकार से मांग की है कि विशिष्ठ शिक्षकों का वेतन जल्द से जल्द दिया जाए। सरकार लापरवाह कर्मचारियों के खिलाफ एक्शन ले ताकि यह परेशानी दूर हो सके। शिक्षक नेताओं ने चेतावनी दी है कि अगर जल्द से जल्द उनका वेतन भुगतान नहीं होता है तो वह आंदोलन करने को बाध्य हो जाएंगे।